फ्रैंकिंग मशीन (Franking Machine): यह एक ऐसी डाक टिकट लगाने वाली मशीन (Postage Meter Machine) होती है,
जो पत्र, पार्सल या अन्य डाक वस्तुओं पर डाक शुल्क (Postage Value) की छाप (印) लगाती है।
सरल शब्दों में — यह मशीन डाक टिकट की जगह काम करती है।
यह उन संस्थानों या कार्यालयों के लिए बहुत उपयोगी होती है, जहाँ बहुत अधिक संख्या में डाक सामग्री भेजी जाती है।
Content List
- 1 फ्रैंकिंग मशीन का उद्देश्य (Purpose)
- 2 फ्रैंकिंग मशीन ( (Franking Machine)) कैसे काम करती है?
- 3 फ्रैंकिंग मशीन की मुख्य विशेषताएँ
- 4 फ्रैंकिंग मशीन के लिए लाइसेंस कैसे मिलता है?
- 5 फ्रैंकिंग मशीन से भुगतान कैसे किया जाता है?
- 6 फ्रैंक्ड डाक भेजने के नियम
- 7 गलत या दोषपूर्ण फ्रैंकिंग पर नियम
- 8 विज्ञापन की अनुमति (Advertisement beside Franking Impression)
- 9 सुरक्षा और निरीक्षण (Security & Inspection)
- 10 SOM / मीटर रीडिंग व बहीखाता (Statement of Mailing & Meter Records)
- 11 लाइसेंस रद्दीकरण और दंड (License Cancellation & Penalties)
- 12 सरकारी विभागों में फ्रैंकिंग मशीन का उपयोग
- 13 नया सिस्टम – आरएमएफएम (RMFM: Remotely Managed Franking Machine)
- 14 संक्षेप में (Summary Table):
- 15 सरल शब्दों में निष्कर्ष
फ्रैंकिंग मशीन का उद्देश्य (Purpose)
फ्रैंकिंग मशीन का उद्देश्य है —
डाक वस्तुओं पर डाक शुल्क को स्वचालित (automatically) रूप से अंकित करना,
टिकट चिपकाने की परेशानी से बचना,
और सटीक व तेज़ डाक प्रक्रिया सुनिश्चित करना।
इससे बड़े कार्यालयों, सरकारी संस्थानों और बैंकों को डाक कार्य में समय और श्रम की बचत होती है।
फ्रैंकिंग मशीन ( (Franking Machine)) कैसे काम करती है?
मशीन में पहले से डाक शुल्क की राशि (Prepaid Value) जमा कराई जाती है।
जब कोई पत्र या पार्सल मशीन में डाला जाता है, तो मशीन उस पर डाक शुल्क, तारीख और लाइसेंस नंबर के साथ एक लाल / नीली रंग की छाप (Red / Blue Impression) लगा देती है।
यह छाप ही टिकट का काम करती है, और डाकघर में इस तरह की डाक को “फ्रैंक्ड मेल (Franked Mail)” कहा जाता है।
मान लीजिए किसी कंपनी ने ₹5,000 की अग्रिम राशि मशीन में दी। मशीन से एक-एक कर ₹20, ₹50 के मेल पर छापें लगती हैं और बैलेंस घटता जाता है। कंपनी हर दिन अपनी डेली-डॉकेट में उसका रिकार्ड रखती है। अगर किसी इम्प्रेशन में तारीख नहीं दिखी या छाप फेड हो गई, तो कंपनी उस काउंटर/मेल को वापस लेकर रिफंड या समायोजन के लिए डाकघर में जमा कर सकती है — नियमों के तहत कटौती हो सकती है।
फ्रैंकिंग मशीन की मुख्य विशेषताएँ
| क्रम | विशेषता | विवरण |
|---|---|---|
| 1. | लाल / नीली रंग की छाप | हर फ्रैंक्ड डाक पर लाल / नीली रंग का स्पष्ट निशान होता है। |
| 2. | लाइसेंस प्राप्त पर उपयोग | मशीन का उपयोग केवल डाक विभाग से लाइसेंस मिलने के बाद ही किया जा सकता है। |
| 3. | अलग-अलग डाई (Die Marks) | मशीन में दो डाई होती हैं – एक “मूल्य डाई” (Value Die) और एक “लाइसेंस डाई” (License Die)। |
| 4. | तारीख व पहचान | हर छाप पर तारीख, राशि और लाइसेंस नंबर साफ-साफ दिखता है। |
| 5. | सिर्फ अधिकृत डाकघरों में मान्य | फ्रैंक्ड डाक केवल उन्हीं डाकघरों में स्वीकार की जाती है, जिनका नाम लाइसेंस में दर्ज है। |
फ्रैंकिंग मशीन के लिए लाइसेंस कैसे मिलता है?
फ्रैंकिंग मशीन का उपयोग करने के लिए संबंधित व्यक्ति या संस्था को अपने क्षेत्र के डाक मंडल अधीक्षक को लिखित आवेदन देना होता है। विभागीय फ्रैंकिंग मशीन के लिए पोस्टमास्टर जनरल (PMG) को आवेदन देना होगा.
केवल अधिकृत निर्माता या विक्रेता (Authorized Supplier) से खरीदी गई मशीन को ही लाइसेंस मिलता है।
मशीन को उपयोग में लेने से पहले डाकघर द्वारा जांच (Verification) की जाती है।
मशीन का उपयोग बिना लाइसेंस के करना अवैध (Illegal) है।
फ्रैंकिंग मशीन से भुगतान कैसे किया जाता है?
मशीन का उपयोग करने से पहले डाक शुल्क की अग्रिम राशि (Advance Payment) जमा करनी होती है।
यह राशि ₹100 से ₹50,000 तक हो सकती है।
डाक भेजने पर प्रत्येक पत्र या पार्सल का शुल्क मशीन से घटा दिया जाता है।
इस पर डाक विभाग 3% की छूट (Rebate) भी देता है।
फ्रैंक्ड डाक भेजने के नियम
फ्रैंक्ड पत्रों को केवल लाइसेंसधारी व्यक्ति द्वारा संबंधित डाकघर की विंडो पर जमा किया जा सकता है।
इन्हें लेटर बॉक्स में नहीं डाला जा सकता।
छाप (Impression) स्पष्ट, लाल और साफ-सुथरी होनी चाहिए।
प्रत्येक छाप पर तारीख और मूल्य होना जरूरी है।
एक छाप पर मूल्य डाई (राशि) एक या अधिक बार लग सकती है, लेकिन लाइसेंस डाई केवल एक बार लगाई जाएगी।
गलत या दोषपूर्ण फ्रैंकिंग पर नियम
अगर छाप अस्पष्ट, हल्की या अधूरी है, तो डाकघर उस वस्तु को “अवैतनिक डाक (Unpaid Mail)” मान सकता है।
अगर छाप पर पुरानी तारीख है, तो वह भी अमान्य मानी जाएगी।
अगर मशीन से गलती हो जाए, तो उपयोगकर्ता डाकघर को 3 महीने के अंदर गलत छाप वाले लिफाफे जमा करके रिफंड (5% कटौती के साथ) ले सकता है।
विज्ञापन की अनुमति (Advertisement beside Franking Impression)
फ्रैंकिंग मशीन से निकले पत्रों पर, तारीख मोहर के बगल में छोटे विज्ञापन या स्लोगन भी छापे जा सकते हैं।
लेकिन इसके लिए कुछ शर्तें हैं
विज्ञापन का संबंध उस संस्था के कार्य या व्यवसाय से होना चाहिए।
यह डाक की आधिकारिक जानकारी (तारीख, लाइसेंस, मूल्य आदि) से अलग हो।
यह केवल लिफ़ाफ़े के बाएँ ऊपरी कोने में हो।
विज्ञापन डाई (Die) की लागत उपयोगकर्ता को स्वयं उठानी होती है।
सुरक्षा और निरीक्षण (Security & Inspection)
डाक विभाग किसी भी समय मशीन का निरीक्षण कर सकता है।
लाइसेंसधारी व्यक्ति को यह सुनिश्चित करना होता है कि मशीन का दुरुपयोग (Misuse) न हो।
मशीन पर लगी सील (Seal) को तोड़ना या बदलना सख्त मना है।
SOM / मीटर रीडिंग व बहीखाता (Statement of Mailing & Meter Records)
हर फ्रैंक-मशीन की मीटर रीडिंग और SOM (Statement of Mailing) रिकॉर्ड होती है — इसकी प्रतियाँ ग्राहक और डाकघर दोनों के पास रहती हैं।
ये रिकॉर्ड ऑडिट और बैलेंस चेक के लिए उपयोगी होते हैं।
लाइसेंस रद्दीकरण और दंड (License Cancellation & Penalties)
नियमों का उल्लंघन होने पर डाक मंडल अधीक्षक / पोस्टमास्टर जनरल लाइसेंस रद्द कर सकता है।
मशीन के दुरुपयोग, सील तोड़ने या गलत छाप लगाने पर दंड/कानूनी कार्रवाई संभव है।
लाइसेंस रद्द होने पर किसी भी बकाया रकम की वापसी नियमों के अनुसार हो सकती है, पर कभी-कभी कटौती लागू होती है।
सरकारी विभागों में फ्रैंकिंग मशीन का उपयोग
शासकीय कार्यालयों, मंत्रालयों और विभागों को भी फ्रैंकिंग मशीन का उपयोग करने की अनुमति होती है,
लेकिन यह अनुमति पोस्टमास्टर जनरल (PMG) द्वारा दी जाती है।
- ये मशीनें अक्सर किराए पर (On Hire Basis) दी जाती हैं।
- उनके लिए भी वही नियम लागू होते हैं — अग्रिम भुगतान, रजिस्टर में प्रविष्टि और साप्ताहिक निरीक्षण।
- सरकारी मशीनों पर “डायग” या “पर शब्द सेवा” जैसे चिन्ह छपे हो सकते हैं ताकि सरकारी डाक के रूप में पहचान सके।
नया सिस्टम – आरएमएफएम (RMFM: Remotely Managed Franking Machine)
आजकल डाक विभाग ने आधुनिक तकनीक पर आधारित “RMFM” (Remotely Managed Franking Machine) शुरू की है।
यह इंटरनेट से जुड़ी इलेक्ट्रॉनिक फ्रैंकिंग मशीन होती है,
जिसे दूर से (Online) रिचार्ज और मॉनिटर किया जा सकता है।
इसका उपयोग मुख्य रूप से सरकारी विभागों, बैंकों और बड़ी कंपनियों में किया जाता है।
RMFM इंटरनेट-आधारित मॉड्यूलर फ्रैंकिंग है — इसे दूर से रिचार्ज, मॉनिटर और मैनेज किया जा सकता है।
RMFM में रिचार्ज, रिमोट ऑडिट और ऑनलाइन रिकोर्डिंग जैसी सुविधाएँ होती हैं।
यह बड़े संस्थानों और बैंकिंग/सरकारी इकाइयों के लिए उपयुक्त है जहाँ रीयल-टाइम ट्रैकिंग चाहिए।
संक्षेप में (Summary Table):
| बिंदु | विवरण |
|---|---|
| मशीन का नाम | फ्रैंकिंग मशीन (Franking Machine) |
| कार्य | डाक शुल्क की छाप लगाना (Postage Impression) |
| उपयोगकर्ता | सरकारी व व्यावसायिक संस्थान |
| रंग | लाल छाप |
| लाइसेंस | डाक विभाग से अनिवार्य |
| जमा राशि | ₹100 – ₹50,000 अग्रिम |
| छूट | 3% तक |
| उपयोग की जगह | केवल निर्धारित डाकघर में |
| आधुनिक रूप | RMFM (Remotely Managed Franking Machine) |
सरल शब्दों में निष्कर्ष
फ्रैंकिंग मशीन (Franking Machine) डाक विभाग की एक आधुनिक सुविधा है, जिससे डाक टिकट लगाने का काम स्वचालित और तेज़ हो गया है।
इससे सरकारी और व्यावसायिक संस्थानों को बड़ी मात्रा में डाक भेजने में आसानी होती है।
यह सेवा समय की बचत, सटीकता और पारदर्शिता सुनिश्चित करती है —
और यही कारण है कि आज यह डिजिटल डाक प्रणाली का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बन चुकी है।
